तारागढ़ का किला ,अजमेर (TARAGARH FORT AJMER)
राजस्थान का जिब्राल्टर
तारागढ़ का किला ,अजमेर |
▶गढ़ बिठली , अजयमेरु और तारागढ़ के नाम से विख्यात किला अरावली पर्वतमाला के शिखर पर निर्मित है । कर्नल टॉड के अनुसार अजमेर नगर के संस्थापक अजय राज(1105-33 ई.) ने इस किले का निर्माण करवाया ।
▶गोपीनाथ शर्मा का मानना है कि राणा सांगा के भाई कुंवर पृथ्वीराज में इस किले के कुछ भागों का निर्माण करवाया | और अपनी पत्नी तारा के नाम पर इसका नाम तारागढ़ रखा ।
▶ गढ़ बिठली के बारे में कहा जाता है कि बिठली उस पहाड़ी का नाम है जिस पर दुर्ग बना हुआ है| गढ़ बिठली नाम के संबंध में एक अन्य मत यह है कि मुगल बादशाह शाहजहां के शासनकाल में विट्ठलदास गौड यहां का दुर्गाध्यक्ष जिसने इस दुर्ग का निर्माण करवाया और उसी के नाम पर इस किले का नाम गढ़ बिठली पड़ा|
▶ यह किला समुद्र तल से 2855 फीट ऊंची पहाड़ी पर बना हुआ है और 80 एकड़ परिधि में फैला हुआ है| पर्वत शिखरों के साथ मिली हुई ऊंची प्राचीर, सुदृढ़, और विशालकाय बुर्ज तथा सघन वन इसे सुरक्षा प्रदान करते हैं। हरीविलास शारदा ने इसे भारत का प्राचीनतम गिरी दुर्ग माना है| हरविलास शारदा के अनुसार राजस्थान के समस्त किलो में सर्वाधिक आक्रमण तारागढ़ पर हुए हैं|
● राजस्थान के किले
▶ राजपूताना के मध्य में स्थित होने के कारण इस दुर्ग का विशेष सामरिक महत्व रहा है इसीलिए महमूद गजनवी से लेकर अंग्रेजों के नियंत्रण में आने तक इसे अनेक आक्रमणों का सामना करना पड़ा |
▶ राव मालदेव ने तारागढ़ का जीर्णोधार करवाया तथा किले में पानी पहुंचाने के लिए एक रहट का निर्माण भी करवाया| मालदेव कि पत्नी रूठी रानी(उमादे) ने तारागढ़ को अपना निवास बनाया था| गवर्नर जनरल लॉर्ड विलियम बेंटिक में 1832 ईस्वी में संभावित उपद्रव की आशंका से इस किले की प्राचीर और अन्य भाग तुड़वाकर इस किले का सामरिक महत्व समाप्त कर दिया था|
▶ तारागढ़ की प्राचीर में 14 विशाल बुर्जे - घुंघट ,गुगडी, फूटी, नक्कारची, श्रृंगार-चंवरी,आर-पार का अत्ता ,जानु-नायक,पिपली ,इब्राहीम शहीद,दोराइ,बांदरा, इमली, खिड़की और फ़तेह बुर्ज है| नाना साहब का झालरा ,गोल झालरा , इब्राहीम का झालरा आदि किले के भीतर जलाश्यो के नाम है | तारागढ़ में मुस्लिम संत मीरा साहिब की दरगाह स्थित है|
▶बिशप हेबर ने इस किले के बारे में लिखा है " यदि यूरोपीय तकनीक से इसका जीर्णोद्धार करवाया जाए तो यह दूसरा जिब्राल्टर बन सकता है| इसे राजस्थान का जिब्राल्टर भी कहा जाता है|
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